sanjay bhardwaj
अबू धाबी। यूएई के अबू धाबी स्थित हिंदू मंदिर का बीते महीने एक बड़े कार्यक्रम में पीएम नरेंद्र मोदी ने उद्घाटन किया था। 14 फरवरी को मंदिर के उद्घाटन के बाद ये यानी 15 से 29 फरवरी तक उन्हीं भक्तों को दर्शन की इजाजत दी जा रही थी, जिनका पहले से रजिस्ट्रेशन था। एक मार्च, शुक्रवार से सभी के लिए मंदिर को खोल दिया गया है। ये बीएपीएस मंदिर 1 मार्च से सोमवार को छोड़कर हर दिन सुबह 9 बजे से रात 8 बजे तक जनता के लिए खुला रहेगा। मंदिर में जाने के लिए अब रजिस्ट्रेशन की जरूरत नहीं होगी लेकिन कई ऐसे नियम हैं, जिनका ध्यान मंदिर आने वालों को रखना होगा।मंदिर के दरवाजे सभी धर्मों और संप्रदाय के लोगों के लिए अपने दरवाजे खोल दिए हैं।
बीएपीएस स्वामीनारायण संस्था के स्वयंसेवक और कर्मचारी आगंतुकों की सहायता के लिए मंदिर में मौजूद रहेंगे। मंदिर में एंट्री के लिए शालीन पोशाक आवश्यक है। मंदिर की ओर से आगंतुकों को ऐसे कपड़े पहनने की सलाह दी गई है, जो उनके कंधों और घुटनों को ढकते हों। कपड़ों पर आपत्तिजनक डिजाइन और नारे भी नहीं लिखे होने चाहिए। साथ ही परिसर की पवित्रता बनाए रखने के लिए पारदर्शी, पारभासी, या टाइट-फिटिंग वस्त्र भी निषिद्ध हैं। अगर आगंतुक इन दिशानिर्देशों का पालन नहीं करते और कर्मचारी किसी की पोशाक को अनुचित मानते हैं तो उनको प्रवेश से रोका जा सकता है।
‘पालतू जानवरों को लाने की इजाजत नहीं’मंदिर में आने वाले भक्तों को पालतू जानवरों को लाने की अनुमति नहीं होगी। जानवरों को मंदिर परिसर में प्रवेश की अनुमति नहीं है। इसके साथ-साथ मंदिर परिसर के भीतर बाहरी भोजन और पेय पदार्थ लाने की भी अनुमति नहीं है। मंदिर परिसर में ही सात्विक भोजन उपलब्ध होगा। मंदिर परिसर के भीतर ड्रोन सख्ती से प्रतिबंधित हैं जब तक कि स्थानीय अधिकारियों से इजजात नहीं ली गई हो। फोटोग्राफी और रिकॉर्डिंग अगर व्यावसायिक या पत्रकारिता उद्देश्यों के लिए की जा रही है तो इसके लिए संबंधित विभाग से परमिशन लेनी होगी।
इस तारीख को पब्लिक के लिए खुल जाएगा यूएई का मंदिर, क्या मुस्लिम भी जा सकेंगे?मंदिर में अकेले बच्चे भी नहीं जा सकते। मंदिर परिसर में प्रवेश के लिए बच्चों के साथ एक वयस्क होना चाहिए। मंदिर परिसर के भीतर बैग, रूकसैकध्बैकपैक और केबिन सामान की अनुमति नहीं है। हथियार और नुकीली वस्तुएं, चाकू, लाइटर और माचिस भी मंदिर में नहीं ले जा सकेंगे। पार्किंग क्षेत्रों सहित पूरे मंदिर परिसर में धूम्रपान, शराब और तंबाकू उत्पादों का उपयोग सख्त वर्जित है।
मोबाइल फोन का उपयोग मंदिर के बाहरी हिस्से में कर सकेंगे लेकिन मंदिर के भीतर ये सख्त वर्जित हैं। आगंतुकों को मंदिर के पत्थर की नक्काशी, अलंकरण, पेंटिंग या सुरक्षात्मक आवरण को नहीं छूने का अनुरोध किया गया है।